Monday, February 17, 2020

ईएसआई निगम की 181वीं बैठक संपन्न

केंद्रीय श्रम एवं रोजगार राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) की अध्यक्षता में कल हुई ईएसआई निगम की 181वीं बैठक में कामकाज और सेवाओं से जुड़ी व्यवस्था में सुधार के लिहाज से कई अहम फैसले लिए गए।


बैठक में लिए गए फैसले इस प्रकार हैं:



  1. जीविका सूचकांक लागत में बढ़ोतरी को ध्यान में रखते हुए प्रसूति से जुड़े व्यय में इजाफा करते हुए इसे मौजूदा 5,000 रुपये से 7,500 रुपये कर दिया गया है। यह सुविधा ऐसी गर्भवती महिलाओं के लिए है, जो अपरिहार्य कारणों से ईएसआईसी डिस्पेंसरीज/ अस्पतालों में मातृत्व सुविधाएं लेने में सक्षम नहीं हैं और अन्य अस्पतालों में उपचार कराती हैं।

  2. ईएसआई निगम ने शैक्षणिक वर्ष 2020-21 से ईएसआईसी चिकित्सा संस्थानों में आर्थिक रूप से कमजोर तबके (ईडब्ल्यूएस) कोटा और प्रवेश को लागू किए जाने को मंजूरी दे दी है। इसके अलावा ईएसआईसी चिकित्सा महाविद्यालयों में बीमित व्यक्तियों (आईपी) के अंतर्गत एमबीबीएस/ बीडीएस सीटों पर प्रवेश के लिए अनंतिम (प्रोविजनल प्रवेश नीति)- 2020 को भी स्वीकृति दे दी गई है।

  3. ईएसआईसी बैठक के दौरान वर्तमान वित्त वर्ष (2019-20) के संशोधित अनुमान और उसके बाद के वित्त वर्ष (2020-21) के बजट अनुमान को ग्रहण कर लिया गया और स्वीकृति दे दी गई।


श्री संतोष गंगवार ने इस बात पर संतोष जाहिर किया कि ईएसआईसी ने आईपी के जीवन को आसान बनाने के लिए कई नई पहल की हैं। उन्होंने आईपी को होने वाली वास्तविक दिक्कतों के आकलन के लिए हाल में कई ईएसआईसी अस्पतालों के किए गए दौरे को ध्यान में रखते हुए चिकित्सा व अन्य संबंधित सेवाओं में सुधार के लिए उठाए जाने वाले कदमों पर विचार किया। इस बैठक में श्रम और रोजगार सचिव श्री हीरा लाल समरिया, ईएसआईसी महानिदेशक श्री राज कुमार, श्रम और रोजगार अपर सचिव अनुराधा प्रसाद के अलावा कई सांसद, कर्मचारियों और नियोक्ताओं के प्रतिनिधि, राज्य सरकारों के प्रतिनिधि और कई वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे।


कर्मचारी राज्य बीमा निगम एक अग्रणी सामाजिक सुरक्षा संगठन है, जो उचित चिकित्सा उपचार जैसे व्यापक सामाजिक सुरक्षा लाभ और रोजगार संबंधी चोट, बीमारी, मृत्यु आदि की स्थिति में नकदी लाभ उपलब्ध करा रहा है। ईएसआई अधिनियम ऐसे परिसरों/ इकाइयों पर लागू होता है, जहां 10 या उससे ज्यादा लोग काम करते हैं। इसके अलावा हर महीने 21,000 रुपये तक वेतन हासिल करने वाले कर्मचारी ईएसआई अधिनियम के अंतर्गत स्वास्थ्य बीमा कवर और अन्य लाभ लेने के पात्र होते हैं। यह अधिनियम अब देश भर के 12.11 लाख कारखानों और प्रतिष्ठानों पर लागू होता है और 3.49 करोड़ कर्मचारियों के परिवार इसका लाभ ले रहे हैं। 1952 में इसके लागू होने के बाद से अभी तक ईएसआई निगम 159 अस्पतालों, 1500/ 148 डिस्पेंसरी/ आईएसएम इकाइयों, 793 शाखा/भुगतान कार्यालय, 43 डीसीबीओ और 63 क्षेत्रीय और उप क्षेत्रीय कार्यालयों की स्थापना कर चुका है।



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