Saturday, May 23, 2020

गोंडा श्रावस्ती बॉर्डर पर प्रवासी श्रमिकों को उचित व्यवस्था नहीं 






बलरामपुर, उत्तर प्रदेश में कोरोना कोविड 19 के कारण प्रवासी मजदूरों को जो  दिक्कतें उठानी पड़ी है  वह शायद किसी ने सपने में भी नहीं सोचा था उत्तर प्रदेश के युवाओं कामगारों को दोहरी मार झेलनी पड़ी इस आपदा में कितने प्रवासी श्रमिकों को अपनी जान भी गंवानी पड़ी उसके बाद भी प्रदेश सरकार नहीं चेती हद तो तब हो गई जब प्रदेश का भूखा प्यासा नौजवान अपने घर गांव में पहुंचा तो उसे एक और मुसीबत का सामना करना पड़ा सरकार और शासन की अस्पट नीति न होने के कारण नौजवानों को दोहरी मार झेलनी पड़ी युवाओं को पहले कोरेंटिन करने और उन्हें उचित सुविधाएं मुहैया ना कराने के कारण सरकार द्वारा अंत में उसे समाप्त कर दिया गया और गोंडा बॉर्डर पर प्रशासन द्वारा श्रमिकों को आज भी कोई उचित व्यवस्था स्थानीय प्रशासन नहीं उपलब्ध करा पा रहा है जबकि श्रमिकों  के लिए चना लैया गुड़ देने की बात स्थानीय प्रशासन द्वारा कही जा रही है जिसे मौके पर नहीं पाया गया


 

 



 



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