Wednesday, April 29, 2020

 अन्तराष्ट्रीय मजदूर दिवस ,1 मई

-डॉ. राजेश कुमार शर्मा पुरोहित

  जो हाड़ तौड़ मेहनत कर देश के विकास में हाथ बंटाते है। चिलचिलाती धूप में रेलवे की पटरियों पर गिट्टी की तगारी सिर पर रख दिन भर मेहनत करते हैं। जो खेतों में डेरा तम्बू डालकर रहते हैं। वे मजदूर है जो सड़कों के किनारे फुटपाथों पर सोते है जिनके घर नहीं। जो यायावर है घुमक्कड़ है। आज यहाँ कल कहाँ पता नहीं। जहाँ काम मिल जाये इनका झुंड चल पड़ता है। ऐसे श्रमवीरों के लिए मजदूर दिवस प्रतिवर्ष 1 मई को मनाते है। बड़े बड़े दानदाता अपना जन्मदिन इनकी बस्तियों में जाकर मनाते हैं। सेल्फी लेते हैं।

  किसी ने लिखा कि जिनकी वजह से रहते है ऐशो आराम से पैसे वाले नियत सच्ची होती है उनकी और हाथों में होते हैं छाले।

पड़ोस के भूखे को भी अपने हिस्से की रोटी खिला देता है वो मजबूर ही होता है जो नेकी कर भुला देता है।

 महात्मा गांधी जी ने कहा था किसी देश की उन्नति देश के कामगारों और किसानों पर ही निर्भर करती है। मजदूरों का राज प्रबन्ध में बड़ा योगदान है। मालिक उद्योगपति स्वयं को ट्रस्टी समझें।। मजदूरों से विवाद न करें उन्हें संतुष्ट करें। सुखदायी पारिवारिक सम्बन्ध रखें। 

  मजदूर दिवस 1 मई 1886 से मनाया जा रहा है। इसके पीछे भी एक कहानी है दोस्तो उस समय अमेरिका में मजदूरों से आठ घन्टे से ज्यादा काम करवाया जाता था। 1 मई के दिन अमेरिका की मजदूर यूनियनों ने हड़ताल की और मजदूरों के लिए 8 घण्टे तय करने की मांग रखी। भारी संख्या में मजदूर एकत्रित हुए तो पुलिस की और से गोलीबारी की गई जिसमें 7 मजदूर मार दिए गए। शिकांगों में बम धमाका हुआ। इन घटनाओं का असर ये हुआ कि उस दिन से अमेरिका में मज़दूरो की मांग मान ली और 8 घण्टे तय कर दिये। इसी खुशी में मजदूर दिवस मनाया जाता है तभी से।

  महलों में रहने वालों को नींद तक नहीं आती थका हारा मजदूर चैन से फुटपाथ पर सोकर रात गुजार लेता है।

   हमारे देश मे 1 मई मजदूर दिवस को मद्रास दिवस के रूप में सबसे पहले मनाया गया। बाद में मजदूर किसान पार्टी के नेता कामरेड सिकलावेलु ने मजदूर दिवस के नाम से शुरुआत की। इन्होंने हाई कोर्ट के सामने प्रदर्शन किया। इन्होंने मांग की 1मई को भारत मे मजदूर दिवस मनाया जावे।इस पर सहमति बन गई। इस दिन छुट्टी रखी गई। लगभग 80 देशों में 1 मई को मजदूर दिवस मनाया जाता है। क्योंकि ये दिन अन्तराष्ट्रीय मजदूर दिवस के रूप में घोषित हो चुका है।

  गुरु नानक जी ने  किसानों मजदूरों कामगारों के लिए आवाज बुलंद की थी। उस समय के लुटेरे हकीमो को सबक सिखाया। उनका अहंकार तोड़ा। सिख समुदाय 1 मई को भाई लालो दिवस मनाते हैं। किसी भी समाज देश संस्था और उधोग में मजदूरों कामगारों मेहनतकशों का मुख्य रोल होता है। उनकी बड़ी संख्या इसकी कामयाबी के लिए हाथों अक्ल इल्म और तनदेही के साथ जुटी होती है।किसी भी उधोग में सफलता के लिए मालिक सरमाया कामगार और सरकार ये अहम धड़े माने जाते हैं। मजदूरों के बिना कोई भी ओधोगिक ढाँचा खड़ा नहीं कर सकते। अतः विन्रमता से मजदूरों से पेश आना चाहिए।

   चीथड़ों में लिपटे कृशकाय ये मजदूर मिलो भूखे प्यासे सड़कों पर पैदल मिलों चल लेते हैं। रोजगार की तलाश में भटकते रहते हैं। आओ इनकी समस्याएं सुने इनके बच्चों को पढ़ाएं मिलकर इन्हें आगे बढ़ाएं।

   -डॉ. राजेश कुमार शर्मा पुरोहित

जनपद की सीमाओं पर पुलिस मुस्तैद  लाक डाउन का उल्लंघन करने वाले को दी जा रही कड़ी नसीहत




दैनिक अयोध्या टाइम्स/महफूज अहमद

 शुकुल बाजार अमेठी। कोरोनावायरस के मद्देनजर जारी लॉक डाउन मे कोई भी अनावश्यक जिले में प्रवेश न कर सके इसके लिए जनपद के थाना क्षेत्रों के सीमा पर पुलिस पूरी तरह मुस्तैद हो गई है। पुलिस जनपद की सीमा पर प्रत्येक आने-जाने वालों पर कड़ी नजर रखते हुए उनसे पूछताछ के साथ ही स्वास्थ्य टीम के जांच कराने के पश्चात ही जनपद में प्रवेश दे रही है। संक्रमण से बचाव के लिए सीमाओं पर सघन चेकिंग भी किया जा रहा है। लाक डाउन व सोशल डिस्टेसिंग का उल्लंघन करने वालों को पुलिस दे रही है कड़ी नसीहत शुकुल बाजार थाना अंतर्गत सीमा पर कोरोना वायरस के संक्रमण से बचाव के लिए तपती धूप की चिंता के बगैर पुलिस प्रशासन पूरी तरह से मुस्तैद देखी जा रही है। अंतर्जनपदीय लोगों का थाना क्षेत्र की सीमा में आना पूर्ण रूप से वर्जित है चोरी चुपके आने वाले लोगों पर पुलिस की कड़ी नजर रख रही है। खाद्यान्न सामग्री एवं आवश्यकता वाली ही वाहनों को आने जाने की अनुमति दी जा रही है। जो लोग लॉक डाउन व सोशल डिस्टेंसिंग का उल्लंघन कर रहे हैं ऐसे लोगों को सबक सिखाते हुए पुलिस लाकडाउन का पालन करने की नसीहत दे रही है।


 

 



 

किस एक्शन और किस घमंड में खड़े हैं आखिर यह दरोगा जी देखिएगा आप इसी प्रकार करते हैं लोगों से गुंडई




रिपोर्टिंग कर कर लौट रहे वरिष्ठ पत्रकार पर पुलिस द्वारा हमला कर की मारपीट उच्च अधिकारियों को सूचना देने के बाद भी रिपोर्ट नहीं कि दर्ज
डॉ केशव आचार्य गोस्वामीमथुरा ब्यूरो दैनिक अयोध्या टाइम्स

गोवर्धन मथुरा

विश्व प्रसिद्ध  गोवर्धन तीर्थ स्थल गोवर्धन धाम में प्रसिद्ध वरिष्ठ पत्रकार अपराध संपादक डॉक्टर केसी गोस्वामी अपने कार्यालय से दैनिक समाचार संपादन का कार्य करके आ रहे थे 7:35 पर गोवर्धन स्थित बीकानेरी धर्मशाला के सामने रास्ते में अपने निवास को जाते हुए आ रहे पुलिसकर्मियों के दल जिसका नेतृत्व थाना गोवर्धन का s.i. अनुज मलिक पांच सात पुलिसकर्मियों द्वारा बिना कुछ पूछा था कि किए हमला कर मारपीट कर दी तथा पत्रकार महोदय का ₹16200 का मोबाइल क्षतिग्रस्त हो गया एस आई अनुज कुमार द्वारा पत्रकार को गंदी गंदी गाली गलौज और धमकी दी जबकि केंद्र सरकार व उत्तर प्रदेश सरकार पुलिस विभाग को सख्त निर्देश दिए हैं कि पत्रकारों का किसी भी प्रकार से उत्पीड़न ना किया जाए थाना पुलिस द्वारा अकारण ही अपने कार्यालय से आ रहे पत्रकार पर रूप से मारपीट की यह भी नहीं पूछा कि आप कौन हो और  किस प्रकार से बाहर निकल आए हैं पुलिस की स्थिति गोवर्धन क्षेत्र में बड़ी दयनीय हो गई है अकारण ही क्षेत्रीय लोगों के साथ में मारपीट करती है लॉक डाउन नाम पर मानव अधिकारों का उल्लंघन किया जा रहा है यह स्थिति हो गई है थाना गोवर्धन की घटना के संबंध में उक्त घटना को क्षेत्रीय व्यक्तियों ने देखा वह बचाया पत्रकार द्वारा अपने ऊपर हुए उत्पीड़न हमले के संबंध में थाना प्रभारी गोवर्धन लोकेश भाटी क्षेत्राधिकारी गोवर्धन जितेंद्र सिंह अपर पुलिस अधीक्षक ग्रामीण श्री चंद एवं वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक मथुरा डॉक्टर गौरव ग्रोवर को अपने ऊपर हुए हमले की शिकायत की लेकिन थाना पुलिस गोवर्धन मथुरा पुलिस अपने  एसआई को बचाने का प्रयास कर रही है तथा नाजायज रूप से पत्रकार के घर पर अज्ञात व्यक्तियों को भेजकर धमकी दिलवाई जा रही हैं अगर राजीनामा नहीं किया तो तुम्हारे खिलाफ एनएसए व अन्य संगीत मुकदमों में हंसा कर जेल भेज देंगे धमकी के संबंध में पीड़ित पत्रकार द्वारा माननीय मुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश शासन योगी आदित्यनाथ प्रमुख सचिव उत्तर प्रदेश शासन उत्तर प्रदेश के पुलिस महानिदेशक एचसी अवस्थी एवं उन्हें एसएसपी मथुरा को घटना की सूचना लिखित रूप से दी गई लेकिन आज तक मुकदमा दर्ज नहीं हुआ है इस घटना से मथुरा जनपद एवं गोवर्धन सहित समूचे क्षेत्र में पत्रकारों में आक्रोश व्याप्त है अपराधी एसआई अनुज कुमार के खिलाफ जब तक मुकदमा दर्ज नहीं हो जाता है पत्रकार लोग चैन से नहीं बैठेंगे कुछ पत्रकार संगठन जो कि अधिकारियों के गुलाम है इस मामले को दबाने के प्रयास में लगे हुए हैं और पत्रकार पर नाजायज दबाव बनाया जा रहा है जबकि शासन द्वारा निर्देश दिए गए हैं पत्रकारों का किसी प्रकार से  उत्पीड़न किया जावे अगर पत्रकारों का उत्पीड़न होता है तो उत्पीड़न करने के खिलाफ तत्काल राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम एवं अन्य समुचित धाराओं में मुकदमा दर्ज करके अपराधी को जेल के अंदर डाला जावे लेकिन मथुरा पुलिस अपने ही एसआई को बचाने में लगी हुई है अब देखना यह है कि उत्तर प्रदेश शासन  पुलिस महानिदेशक उत्तर प्रदेश ऐसी अवस्थी पीड़ित पत्रकार को एफ आई आर दर्ज कर जेल भेज कर न्याय दिला पाते हैं या नहीं या इसी प्रकार उत्तर प्रदेश में पत्रकारों का उत्पीड़न होता रहेगा वह पत्रकारों पर फर्जी मुकदमे दर्ज होते रहेंगे



 

 



 

लॉक-डाउन के चलते समाजसेवी वसीम खा जरूरतमंदों की लगातार कर रहे हैं मदद

दैनिक अयोध्या टाइम्स,रामपुर-गुलशन वेलफेयर सोसायटी द्वारा लॉक डाउन के चलते जरूरतमंदों को राशन वितरण किया जारी बयान में प्रदेश सचिव वसीम खा ने कहा जरूरतमंदों को संस्था द्वारा समान भिजवाया जा रहा है इसके अलावा जो भी कोई जरूरत मंद मिलता है उसकी भी संस्था द्वारा जरूरत पूरी की जाती है वसीम खा ने कहा की कोई भी भूखा ना सोए इसलिए हमारी संस्था पूरा प्रयास कर रही है जरूरतमंदों की पूरी सेवा की जा रही उन्होंने कहा जब तक लॉक डाउन रहेगा तब तक हमारी संस्था गरीबों की मदद करती रहेगी उन्होंने कहा कोई भी गरीब जरूरतमंद हमसे संपर्क कर सकता है।हम उसको जरूरत का सामान उसके घर तक पहुंचाएंगे वसीम खा ने कहा समाज सेवा ही सच्ची इबादत है और सेवा करने से मुझे बहुत सुकून मिलता है  संस्था गरीब जरूरतमंद लोगों की पूरी इमानदारी से सेवा कर रही है और आगे भी करती रहेगी गुलशन वेलफेयर सोसाइटी के प्रदेश सचिव वसीम खां अपनी पूरी टीम के साथ जब से लॉक डाउन हुआ है तब से लगातार जरूरतमंद लोगों की मदद कर रही है इसके अलावा संस्था से जुड़ी महिलाओं की भी संस्था द्वारा पूरी मदद की जा रही है सुबह से लेकर रात तक गुलशन वेलफेयर सोसाइटी की पूरी टीम लोगो की मदद कर रही है रोजाना 400 से 500 लोगों तक मदद पहुंचाई जा रही है जैसे आटा-दाल-चावल -तेल- मिर्च -चीनी- चाय की पत्ती -आदि पहुंचाई जा रहा है वसीम खा ने कहा कि रमज़ान का पाक महीना शुरु हो गया है उसके मद्देनजर लोगों को इफ्तियारी का सामान भी पहुंचाया जा रहा है जैसे खजूर,खजला,फल आदि भी गरीब लोगों तक संस्था द्वारा पहुंचाई जा रहा है पहुंचाने वाली टीम के सदस्य,वसीम खां ,बाबर खां ,इमरान पाशा ,टीपू खां, गोल्डन ,समीना,पूजा, रेखा, रानी,शाहबाज़,शाहनवाज़,नदीमआदि मौजूद रहे।

लॉकडाउन में हम सबको एक साथ जरूरतमंदों की करनी चाहिए मदद: अवतार सिंह 

दैनिक अयोध्या टाइम्स,रामपुर-वीर खालसा सेवा समिति द्वारा जरूरतमंदों को डूंगरपुर आसरा कॉलोनी आगा पुर रोड, पनगढ़िया कपड़ा मिल,काशीराम कॉलोनी,चपटा कॉलोनी आदि स्थानों पर राशन वितरण किया गया अध्यक्ष अवतार सिंह ने कहा कि यह समय जरूरतमंदों की सेवा करने का हम सब का फर्ज बनता है आगे आकर गरीब लोगों की मदद करें ताकि इस समय कोई भी भूखा ना सो पाय वीर खालसा सेवा समिति द्वारा लुक डाउन के पहले दिन से ही यह सेवा कार्य जारी हैं आगे भी समिति द्वारा जरूरतमंदों की हरसंभव मदद की जाएगी। कंट्रोल रूम की सूचना के आधार पर वार्ड नंबर 1 वार्ड नंबर 4 वार्ड नंबर 8 वार्ड नंबर 11 वार्ड नंबर 22 में जरूरतमंदों को राशन दिया जा रहा है इसके अतिरिक्त भी जो लोग समिति से संपर्क करते हैं उन्हें भी राशन मुहैया कराया जा रहा है।इस मौके पर चेयरमैन निर्मल सिंह,सचिव मनमीत सिंह ,परमजीत सिंह,शक्ति अरोड़ा,गुलशन अरोड़ा,मुदित साहनी ,रिंकू,सोनू ,सेवा सिंह ,नारायण सिंह आदि मौजूद रहे।

घायल छात्र छात्र-छात्राओं का जिला अस्पताल पहुंचकर कांग्रेस जिला अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कुशल क्षेम

अयोध्या,लॉक डाउन में फंसे  छात्र-छात्राओं को प्रयागराज से कुशीनगर ले जा रही रोडवेज की बस कोतवाली बीकापुर के बिलारी के पास प्रयागराज हाईवे पर दुर्घटनाग्रस्त हो गई रोडवेज बस पीछे से ट्रक में टकरा गई बस में 25 छात्र-छात्राएं ड्राइवर वह बस में ड्यूटी पर तैनात सिपाही सवार थे 11 छात्र-छात्राएं जिला अस्पताल फैजाबाद में भर्ती बाकी सभी को रोडवेज बस से कुशीनगर रवाना किया गया प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू ने उस घटना की सूचना मिलते ही तत्काल जिला अध्यक्ष अयोध्या अखिलेश यादव को जिला अस्पताल भेजा जिला अस्पताल पहुंचकर अखिलेश यादव ने सभी घायल छात्र छात्राओं से मिलकर उनका कुशल क्षेम जाना और हर संभव सहायता का आश्वासन दिया। एआईसीसी सदस्य राजेंद्र प्रताप सिंह,महानगर अध्यक्ष अकबर अलीमेजर,पूर्व जिला अध्यक्ष रामदास वर्मा,पूर्व महानगर अध्यक्ष सुनील पाठक,पीसीसी सदस्य मोहम्मद शरीफ ने उक्त घटना पर गहरा दुख व्यक्त करते हुए सभी घायल छात्र- छात्राओं के यथा शीघ्र स्वस्थ होने की कामना ईश्वर से की इस अवसर पर दिनेश यादव राकेश उर्फ गुड्डू यादव अब्दुल हकीम खान आदि कांग्रेसजन मौजूद रहे।


लॉक डाउन के संबंध में श्री प्रमोद तिवारी जी का केंद्रीय मंत्री को सुझाव

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता श्री प्रमोद तिवारी ने कहा है कि मा. प्रधानमंत्री जी द्वारा उत्तर प्रदेश के प्रभारी बनाये गये केन्द्रीय कैबिनेट मंत्री कौषल विकास एवं उद्यमिता मन्त्री डा. महेन्द्र पाण्डेय जी ने प्रधानमंत्री कार्यालय की ओर से 3 मई, 2020 के बाद ‘‘लाॅकडाउन’’ के संदर्भ में फोन पर मेरे विचार जानने के लिये कल फोन किया था। मैने उन्हें सुझाव दिया है कि अब पूरे देष के नागरिकों को घरों में लाॅकडाउन करने से बेहतर है कि 40 दिन (3 मई,2020) के बाद यदि लाॅकडाउन बढ़ाने की मंषा हो तो कृृपया --
1. अब पूरे देष के नागरिकों को लाॅकडाउन में बन्द करने की जगह ‘‘कोरोना वायरस’’ और उससे संक्रमित व्यक्ति को लाॅकडाउन किया जाय। क्योंकि इन 40 दिनों में कोरोना से प्रभावित काफी कुछ स्थल चिन्हित हो चुके हैं ।
2. जहांॅ कोरोना से संक्रमित व्यक्ति मिले उस मोहल्ले, गांॅव अथवा पुरवे को पूरी तरह लाॅकडाउन कर दिया जाय, और संक्रमित मरीज को न्यूकीलियस/ केन्द्र बिन्दु बनाकर उससे 500 मीटर या   1.00 किमी की परिधि में आने वाली आबादी को या उस पुरवे, मोहल्ले अथवा गांॅव को सील (हाॅट स्पाॅट) करके बन्द कर दिया जाय, और लाॅकडाउन के साथ - साथ उस सीमित संक्रमित स्थल में पूरी तरह से कफ्र्यू लगा दिया जाय ।
3. संक्रमित क्षेत्र के मोहल्ले, पुरवे या गांॅव में सघन टेस्टिंग/ जांॅच करायी जाय, तथा उस क्षेत्र में फ्यूमीगेषन ओर सेनेटाइज कराया जाय ।
4. बाकी क्षेत्र में, जो गांॅव, शहर या मोहल्ले है उनमें धारा- 144 लगाकर उसका सख्ती से पालन किया जाय, कहीं भी 5 या उससे अधिक व्यक्तियों को एकत्रित न होने दिया जाय, और उस स्थल पर भी ‘‘सोषल डिस्टेंसिंग’’ का पूर्णतः पालन किया जाय, और प्रयोग के तौर पर उस क्षेत्र से लाॅकडाउन एक सप्ताह या पन्द्रह दिनों के लिये हटा लिया जाय, तथा कोई नया केस न मिलने पर इसे और बढ़ा दिया जाय ।
5. किसान, मजदूर, रोज कमाने खाने वाले व्यक्तियों का ‘‘सोषल डिस्टेंसिंग’’ के साथ आवष्यकता पड़ने पर कार्य हेतु आवागमन चालू किया जाय । प्रत्येक ऐसे मजदूर, छोटे किसान और छोटे व्यापारियों तथा गरीब तपके के लोगों को रु. 7500 प्रतिमाह दिया जाय । छोटे दुकानदारों/ छोटे व्यापारियों को आर्थिक मदद दी जाय ताकि वे अपना व्यापार चालू कर सकें । डेढ़ माह का बिजली का बिल माफ किया जाय, राषन की कोटे की दुकानों में कुछ लोगों के कारण जिस तरह घटतौली और लूट चल रही है उसे रोका जाय और प्रत्येक व्यक्ति को चाहे उसके पास वैलिड राषन कार्ड हो या न हो, उसके ‘‘आधार कार्ड’’ पर राषन दिया जाय ।
 चंूूॅकि 40 दिन में कोरोना योद्धाओं ने, चाहे वे चिकित्सक हों, चिकित्सा से जुड़े कर्मचारी हों, पुलिस कर्मी हों या अन्य कर्मचारी अथवा समाज सेवी हों, सभी को लगातार 40 दिन काम करने के कारण सिलसिलेवार विश्राम की आवष्यकता है । इस प्रकार जो संसाधन है उनका बेहतर उपयोग उन स्थलों में हो सकेगा जो कोरोना संक्रमित है, या ‘‘कोरंटाइन’’ में रखे गये हैं ।
ये हम सबके राजनैतिक और सामाजिक सुझाव हैं, इस पर विषेषज्ञों की राय ले ली जाय और उनकी राय को देषहित में सर्वोपरि रखा जाय ।
उपरोक्त सुझाव के अतिरिक्त श्री तिवारी ने इस बात पर चिन्ता व्यक्त की है कि जो कोरोना प्रभावित मरीजों की टेस्टिंग ‘‘चाइनीज किट’’ से की गयी है और उसने गलत रिपोर्ट दी है, उसकी वजह से बहुत से संक्रमित व्यक्तिय भी ‘‘निगेटिव’’ पाये गये हैं, ऐसे लोग इस सरकारी जांॅच रिपोर्ट पर भरोसा करके समाज में विचरण कर रहे हैं जबकि उनका कोई दोष नहीं है, इसके लिये अधिक दामों में ‘‘चाइनीज किट’’ को खरीदने वाले दोषी हैं, इसकी जांॅच की जानी चाहिए, तथा जिन व्यक्तियों की ‘‘चाइनीज किट’’ से जांॅच की गयी है, उनकी दोबारा जांॅच करायी जाय ।
श्री तिवारी ने कहा है कि कोरोना याद्धाओं- चिकित्सक, चिकित्साकर्मी, पुलिस कर्मी, इससे जुड़े अन्य कर्मचारी, जिनमें कुछ अपवाद को छोंड़कर, अपने जीवन को दांॅव पर लगाकर निष्ठापूर्वक अपने दायित्वों का निर्वाहन किया है, उन्हें प्रोत्साहन स्वरूप उनके वेतन के बराबर उतनी ही धनराषि ‘‘पुरस्कार स्वरूप’’ दी जाय, और कर्मचारियों के महंगाई, भत्ते की कटौती के प्रस्ताव को वापस लिया जाय ।
अधिवक्ताओं या जो निष्चित वेतन के बिना कार्य करते हैं, ऐसे लोगों को जो आर्थिक रूप से कमजोर है उन्हें एक निष्चित धनराषि दी जाय ।
श्री तिवारी ने कहा है कि जिस प्रकार दुनिया के बहुत से देषों ने किया है, हमें भी चीन से क्षतिपूर्ति का दावा करना चाहिए, और उस क्षतिपूर्ति को कोविड-19 से निपटने में खर्च किया जाना चाहिए ।
श्री तिवारी ने लोगों से अपील की है कि वैष्विक महामारी कोविड-19 से लड़ने में सावधानी बरतें, यह उनके परिवार और परिचितों के हित में हैै उक्त जानकारी कांग्रेस प्रवक्ता मोहम्मद शरीफ ने दी।


 

वाॅछित चल रहे 02 अभियुक्तों को थाना अजीमनगर पुलिस द्वारा किया गया गिरफ्तार

दैनिक अयोध्या टाइम्स संवाददाता,थाना टाण्डा- ग्राम चक खरदिया में इस्तेकार पुत्र ढऊआ के झूले (बच्चों का झूला) का किसी व्यक्ति द्वारा गददा फाड दिया था। इसी बात को लेकर दिनांक 23-04-2020 को समय करीब 17ः00 बजे वादिनी नासरा पक्ष के अय्यूब आदि 06 व्यक्तियों तथा दूसरे पक्ष के वादी छून्नु की तरफ से यूसुफ आदि 06 व्यक्तियों में आपस में लाठी डण्डों से मारपीट हो गयी थी तथा एक दूसरे पर जान से मारने की नियत से तमचों से फायरिंग की गयी थी, जिससे दोनों पक्षों के 09 लोग गम्भीर रूप से घायल हो गये थे तथा अय्यूब की मृत्यु हो गयी थी। उपरोक्त घटना के सम्बंध में अय्यूब पक्ष की तरफ से उसकी पत्नी वादिनी श्रीमती नासरा द्वारा थाना टाण्डा, रामपुर पर मु0अ0सं0-96/20 धारा 188/269/147/148/149 /307/302 भादवि व 07 सी.एल. एक्ट व 03 महामारी अधिनियम बनाम यूसुफ आदि 06 नफर नामजद व कुछ अज्ञात पंजीकृत कराया गया था तथा दूसरे पक्ष की तरफ से वादी श्री छून्नु द्वारा थाना टाण्डा, रामपुर पर मु0अ0सं0-97/20 धारा 188/269/147/148/149/307/504 भादवि व 07 सी.एल. एक्ट व 03 महामारी अधिनियम बनाम इस्तेकार आदि 06 नफर व कुछ अज्ञात पंजीकृत कराया गया था।

आज दिनांक 29-04-2020 को थाना टाण्डा, रामपुर पुलिस द्वारा मु0अ0सं0-96/20 धारा 188/269/147/148/149/307/302 भादवि व 07 सी.एल. एक्ट व 03 महामारी अधिनियम बनाम यूसुफ आदि 06 नफर नामजद व कुछ अज्ञात में वाॅछित चल रहे अभियुक्तगणों में से 02 अभियुक्तों को सीकमपुर चैराहे के पास से थाना टाण्डा, रामपुर पुलिस द्वारा गिरफ्तार कर कार्यवाही की जा रही है। पुलिस द्वारा पूर्व में 03 अभियुक्तगण को तीन अद्द नाजायज तमचों के साथ गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया था।गिरफ्तार अभियुक्तगण का नाम व पता

यूनुस पुत्र छन्नू निवासी ग्राम चक खरदिया थाना टाण्डा जनपद-रामपुर,यूसुफ पुत्र छून्नू निवासी ग्राम चक खरदिया थाना टाण्डा जनपद-रामपुर।कार्यवाही* -मु0अ0सं0-96/20 धारा 188/269/147/148/149/307/302 भादवि व 07 सी.एल. एक्ट व 03 महामारी अधिनियम बनाम यूसुफ आदि 06 नफर व कुछ अज्ञात के अन्तर्गत कार्यवाही की जा रही है। 

 

पार्टी एवं सरकार हर तरह से जनता की सेवा के लिए तत्पर : स्वतंत्र देव सिंह

भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने उत्तर प्रदेश के लघु उद्योग प्रकोष्ठ के सभी क्षेत्रीय अध्यक्षों से बात की

दैनिक अयोध्या टाइम्स,रामपुर- भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह ने उत्तर प्रदेश के समस्त लघु उद्योग प्रकोष्ठ के क्षेत्रीय संयोजक ओ से वार्ता की और अपने अपने क्षेत्र मी सामने आ रही दिक्कतों के बारे में बारीकी से जानने की कोशिश कीलघु उद्योग प्रकोष्ठ पश्चिमी उत्तर प्रदेश के क्षेत्रीय संयोजक आकाश सक्सेना ने प्रदेश अध्यक्ष को बताया कि चुकी पश्चिम उत्तर प्रदेश उद्योगों का हब है इसीलिए यहां पर उद्योगों के संचालन हेतु सहूलियत देना आवश्यक है। जिसके प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह ने मुख्यमंत्री से बात कर हर उद्यमी संबंधित समस्याओं को दूर करने का आश्वासन दिया, एवं उन्होंने उद्योग संबंधित सभी दिक्कतों को मेल करने के लिए भी कहाअपने संबोधन में प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह ने कहा कि आज के समय में हर भारत के नागरिक का दायित्व बनता है कि वह स्वयं के साथ साथ हर उस परिवार का ख्याल रखें जिस परिवार को आपकी जरूरत है हमें नियमित जरूरतों के अलावा हर गरीब परिवार के बारे में व्यक्तिगत चिंता करने की आवश्यकता है।प्रदेश अध्यक्ष श्री स्वतंत्र देव सिंह जी ने आग्रह किया कि अपने अपने अपने क्षेत्र में हर उद्यमी बंधुओं से आग्रह करें कि वह कम से कम 100 गरीब परिवार को लॉक डाउन में ही नहीं लॉक डाउन के बाद भी गोद ले और उनकी खाद्यान्न संबंधित एवं अन्य दिक्कतों को पूरी तरह से दूर करने की कोशिश करें।

"क्यों न रस पान करे ये दिल"

मन मीत मिली है सरिता सी, कैसे उसका मैं मान करूँ,
वह आई है हाला बनके,कैसे अधरों से पान करूँ।


है प्रेम रुपी आँचल ओढ़े, हर पल दिल को है सहलाती,


वह आई स्नेह कली बनकर ,लहरों सी वह है लहराती।
वह पुष्प कली है कोमल सी,कैसे उसका सतकार करूँ।।


दस्तक देती हर पल दिल में,खुशबू उसमें है जूही सी,
मकरन्द बिखेर रही सम्मुख, गहराई उसकी है कूँई सी।
वह आम्र मंजरी सी तरुणी, कैसे उसका यश गान करूँ।।


मेरे मन बीच मरूथल को,सिंचित करती अपने जल से,
हर लेती तन के कष्टों को, ढक लेती जब निज आँचल से।
वह प्रथम प्रणय का आलिंगन, कैसे दिल के उदगार कहूँ।।


मेरे उर की इस तप्त भूमि को,हर पल वह है दहकाती,
ओढ़ चुनर दुल्हन के सम,रति भावों को है महकाती।
वह प्रथम प्रणय की सूर्य रश्मि, कैसे उसका श्रृंगार करूँ।।


आई है मधुर बसंत लिए, पुष्पित पुष्पों से सजी हुई,
क्यों न रस पान करे ये दिल, है वह वेणी सी गुंथी हुई।
वह लाजवंती वह सुघड़ हृदय,किस कर उसका गुणगान करूँ।।


मन मीत मिली है सरिता सी, कैसे उसका मैं मान करूँ।
वह आई है हाला बनके, कैसे अधरों से पान करूँ।।
(अशोक राय वत्स)©® स्वरचित


साहित्य सारथी सम्मान 2020 से सम्मानित हुए कांगड़ा के युवा कवि राजीव डोगरा 'विमल'

कृष्ण कलम मंच,जयपुर (राजस्थान) द्वारा आयोजित साप्ताहिक प्रतियोगिता अप्रैल द्वितीय 2020 में प्रतिभागिता लेकर सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने पर कांगड़ा के युवा कवि लेखक और भाषा अध्यापक राजीव डोगरा 'विमल' को साहित्य सारथी 2020 के सम्मान से सम्मानित किया। उनको यह सम्मान संस्था के अध्यक्ष कृष्ण कुमार सैनी तथा उपाध्यक्ष पूर्णिमा मिश्रा के कर कमलों से प्राप्त हुआ राजीव को सम्मान देते हुए अध्यक्ष महोदय ने राजीव को हिंदी साहित्य में ऐसे ही आगे बढ़ने के लिए प्रेरित किया।सम्मान मिलने पर उनके पिता हंसराज माता सरोज कुमारी और बड़े भाई पीएचडी शोधकर्ता अमित डोगरा तथा स्कूल के मुख्याध्यापक महेंद्र सिंह,रविंदर नरयाल खण्ड स्त्रोत केंद्रीय समन्वयक खण्ड कांगड़ा के बी.आर.सी,कुल्लू के साहित्यकार तथा संस्कृति के संरक्षक राज शर्मा और शिमला के साहित्यकार रोशन जसवाल ने अत्यंत खुशी व्यक्त की तथा राजीव को ऐसे ही अपने जिले और हिमाचल का नाम रोशन करने के लिए उत्साहित किया।

पवित्र रमजान : प्रशिक्षण का महीना "

रमजान वह पवित्र माह है जिसमें ईश्वर ने समस्त मानव जाति के मार्गदर्शन के लिए पवित्र कुरआन अवतरित किया।इस्लाम की बुनियाद पाँच स्तम्भ पर है।उनमें रोजा भी एक अनिवार्य और मुख्य स्तंभ है जो इस्लामी कैलेंडर के मुताबिक रमजान के महीने में होता है। सुबह से शाम तक खाना पीना से रूक जाना रोजा (उपवास) है।कैसा ही रूचिकर भोजन हो,कितनी ही भूख प्यास हो, इंसान खाने पीने से रूक जाता है।यहाँ तक कि कोई देखने वाला भी न हो तब भी एक बूँद पानी पीना भी मना है।इसके पीछे ईशपरायणता और परलोक का भय रहता है।ईश्वर के सर्वव्यापी और सर्वज्ञाता होने का विश्वास है।आखिरत के जीवन और अल्लाह की अदालत पर ईमान है।पवित्र कुरआन और जगत गुरु हजरत मुहम्मद (सल्ल०) के संदेशों का पूर्ण आज्ञापालन है। कर्तव्यपालन की प्रबल अनुभूति, धैर्य और संकटों के मुकाबले का अभ्यास है।ईश्वर की प्रसन्नता के बदले अपने मन की ईच्छाओं को रोकने और दबाने की शक्ति है।रोजा प्रत्येक वर्ष हमें प्रशिक्षित कर समस्त मानवीय गुणों का विकास करता है।हमदर्दी, प्रेम, नैतिक पवित्रता और आचरण सौंदर्य का विकास करता है।निर्धनों और अनाथों की सहायता की जाती है।रमजान के महीने में संपन्न, धनवान और खुशहाल लोगों को उपवास रखकर उस अवस्था का व्यवहारिक अनुभव होता है कि निर्धन दरिद्र अनाथ और जीविका सामग्री से वंचित लोगों को भूख किस तरह सताती होगी ? इस अनुभूति से संपन्न वर्ग के हृदय वंचित वर्ग के प्रति कोमल दयापूर्ण और कृपाशील बनते हैं।

                  जीवन में हर कोई सफल होना चाहता है और सफल होने के लिए अच्छे कर्म की आवश्यकता है।रोजा केवल भूखे रहने का नाम नहीं अपितु बुराईयों को दूर करने और अच्छाइयों को फैलाने का नाम है।उपासना, जनसेवा और मानव कल्याण का नाम है।इसलिए आईए इस पवित्र कर्म के मूल उद्देश्यों को हम अपने जीवन में उतारें।

               ऐसे समय जबकि हमारा देश कोविड-19जैसे वैश्विक महामारी के चपेट में है, हमारी जिम्मेदारी और भी बढ़ जाती है।हम अपनी ईशभक्ति और उपासना के माध्यम से जहाँ ईश्वर से यह प्रार्थना करें कि हमसबों को इस संकट से शीध्र मुक्ति दिलाए वहीं जरूरतमंदों की सेवा कर ज्यादा से ज्यादा पुण्य समेट सकें।आज हमारे सेवा की अहमियत और जरूरत ज्यादा बढ़ गई है। कोविड-19 से बचाव के मद्देनजर लाकडाउन का अनुपालन करते हुए अपनी सारी इबादतें घर पर ही करें और शारीरीक दूरी बनाए रखें।सरकार एवं स्वास्थ्य विभाग के निर्देशों का अक्षरशः पालन किया जाए। मानवता की सेवा में तत्पर संगठनों को दान देकर उनके माध्यम से जनकल्याण के कार्य करें तथा पूरे विश्व को इस महामारी के संकटकाल से शीघ्र अति शीघ्र मुक्ति हेतु ईश्वर से दुआ करें।





 

 





"बैंकों को चूना लगाने वालों का कर्ज क्यों राइट ऑफ किया गया"

दोस्तों कोविड 19 से उपजी वैश्विक महामारी कोरोना वायरस से जब आज पूरा विश्व त्राहिमाम है तो वही भारतीय रिजर्व बैंक ने टॉप 50 विलफुल डिफाल्टर्स के करीब 68 हजार करोड़ रुपए के कर्ज को राइट ऑफ कर दिया है दोस्तों इस 50 लोगों की लिस्ट में पीएनबी घोटाले के आरोपी और फरार हीरा व्यापारी मेहुल चोकसी का भी नाम आ गया है दोस्तों यह सब कहीं ना कहीं  राजनीतिक पार्टियों के सदस्यों बैंक अधिकारियों के सांठगांठ के कारण ही संभव हो पाता है देखा जाता है कि देश के आम जनता एवं अन्नदाता जब लोन लेने जाता है तो अपने घरों और खेतों की मोरगेज कराने के बाद भी बैंक बहुत ही मुश्किल से लोन देती है अगर लोन दे भी दे किसान या आम आदमी किसी कारण से समय पर ना चुका सका लोन तो बैंक किसान और आम आदमी के घर पर कानूनी नोटिस और विभिन्न प्रकार के डराना धमकाना शुरू कर देते हैं वैसे तो बहुत मुश्किल से दे पाते हैं किसानों को लोन देते भी हैं तो 10% किसानों से अपना कमीशन मांगते हैं दोस्तों पिछले वर्ष मैं खुद अपने खेत का मोरगेज करा कर ले गया फिर भी मेरे पिताजी से बैंक मैनेजर 10 % कमीशन मांगा जब मैं इसका विरोध किया तो बोला कि यह मेरे हाथ में है 10 % नहीं दोगे तो मैं नहीं दूंगा लोन फिर क्या करता खेती -किसानी की जरूरत के कारण देकर लेना पड़ा दूसरी तरफ विलफुल डिफॉल्टर जिनको एक फोन पर लोन मिल जाता है दोस्तों अब मेरा यह सवाल है कि क्या भारतीय रिजर्व बैंक का यह कूटनीतिक कदम और तत्कालीन वैश्विक कोरोना जैसी वैश्विक महामारी से जूझ रही भारत की अर्थव्यवस्था का सामंजस्य व तालमेल शट- डाउन के बाद की स्थिति को सामान्य व गतिशील रख पाएगा? जबकि पूरे विश्व में आर्थिक मंदी की आहट साफ- साफ दिख रही है l दूसरा सवाल मेरा क्या शट-डाउन के बाद भारत की अर्थव्यवस्था की स्थिति को संतुलित बनाने में किसी तरह का योगदान इन महान डिफॉल्टर सज्जनों के माध्यम से लिखित रूप में दिया गया है? अगर नहीं दिया गया है तो फिर ऐसा क्यों एक तरफ गरीब किसान और आम आदमी को बहुत मुश्किल से लोन मिलने के बाद भी डरा धमका कर उनके घर तक को कुर्क कर लिया जाता है तो  वही इन भगोडो का  कर्ज़ राइट ऑफ कर दिया जाता है दोस्तों विलफुल डिफॉल्टर उन कर्जदारो को कहते हैं जो सक्षम होने के बावजूद जानबूझकर कर्ज नहीं चुकाते  हैं ऐसे महान आत्मा का बैंक भी कर्ज को राइट ऑफ करके बट्टे खाते में डाल देती है वही किसानों और आम आदमी के साथ अपना जुल्म करती रहती है तो क्या आम आदमी और किसानों के लिए और इन विलफुल डिफॉल्टर के लिए अलग कानून एक ही देश में आखिर क्यों ऐसा है? आज दोस्तों पूरा देश कोरोना की महामारी से लड़ रहा है रोजी रोटी की मार के चलते देश के करोड़ों मजदूरों को शहर से गांव पलायन करना पड़ा व फौजी जवानों मिलिट्री पेंशनरों सरकारी कर्मचारियों का महंगाई भत्ता काटा गया है जहां वही लघु उद्योग दुकानदारी व व्यवसाय ठप हो गए हैं पर शर्म की बात है कि इसके बावजूद बैंक डिफॉल्टरो को 68,607 करोड़ों रुपए की माफी दी जा रही है आखिर क्यों? जब देश के अन्नदाता और आम आदमी के साथ आप का कानून पारदर्शी रूप से काम करता है तो इनके साथ क्यों नहीं आखिर इनको इतना लोन कैसे मिल जाता है कहीं ना कहीं राजनीतिक संरक्षण और भाई भतीजावाद का ही मुझे बोलबाला नजर आता है l जबकि हम देख रहे हैं आए दिन हमारे अन्नदाता कर्ज़ और प्रकृति के कहर से फांसी पर लटके हुए देखे जा रहे हैं आखिर क्यों नहीं देश के 70% आबादी जोकि देश के 100% आबादी का पेट भरता है उसके लिए कुछ पहल करें इन अमीरों के कर्ज़ को राइट ऑफ ना करके इन किसानों और मजदूरों का हम मदद करें सोचना जरूर आप सबके सोचने के लिए यह सवाल छोड़ कर जा रहा हूंll